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मुंबई की सस्पेंसफुल मर्डर मिस्ट्री: जब जांघों पर लिखे 22 नामों ने खोला कातिल का राज
22 दुश्मनों के नाम टैटू से बने सुराग
मुंबई की सॉफ्ट टच स्पा (Soft Touch Spa) में एक ऐसे कत्ल का खुलासा हुआ जिसने सभी को हैरान कर दिया। बुधवार सुबह स्पा से पुलिस को एक कॉल मिली, जिसमें एक शख्स के कत्ल की सूचना दी गई थी। वर्ली पुलिस की टीम घटनास्थल पर पहुंची, जहां उन्हें खून से लथपथ एक लाश मिली। पोस्टमॉर्टम के दौरान डॉक्टरों ने देखा कि मृतक की दोनों जांघों पर 22 नामों की लिस्ट टैटू के रूप में गुदी हुई थी।
क्यों लिखवाए थे 22 नाम?
मृतक की पहचान 52 वर्षीय गुरु वाघमारे के रूप में हुई। वाघमारे एक आरटीआई एक्टिविस्ट था, जो लोगों की गलतियों का पर्दाफाश कर उन्हें ब्लैकमेल करता था। इसी कारण उसने कई दुश्मन बना लिए थे। पुलिस को उसकी जांघों पर एक लाइन मिली: “मेरे दुश्मनों का नाम मेरी डायरी में लिखा है। इसकी जांच कर कार्रवाई करें।” संभवतः वाघमारे ने अपनी सेफ्टी के लिए इन नामों को टैटू के रूप में गुदवा लिया था।
कत्ल के सुराग
कत्ल की गुत्थी सुलझाने के लिए पुलिस ने वाघमारे की दुश्मनों की लिस्ट की जांच की। छठे नंबर पर एक नाम संतोष शेरेकर था, जो उसी स्पा का मालिक था। पुलिस को शक हुआ कि कहीं स्पा मालिक का ही इसमें हाथ तो नहीं।
वाघमारे का ब्लैकमेलिंग और दुश्मनी
तफ्तीश में पता चला कि वाघमारे, शेरेकर को भी ब्लैकमेल कर रहा था। शेरेकर ने पुलिस को बताया कि वाघमारे पिछले रात अपने बर्थडे पर अपनी 21 वर्षीय गर्लफ्रेंड के साथ स्पा में आया था। स्पा स्टाफ घर जा चुका था और सुबह शेरेकर को गर्लफ्रेंड से ही कत्ल की सूचना मिली।
सीसीटीवी ने खोला राज
पुलिस ने वाघमारे और उसकी गर्लफ्रेंड के बार और स्पा के आसपास के सीसीटीवी फुटेज खंगाले। फुटेज में दो संदिग्ध व्यक्ति रेनकोट पहने स्कूटी से वाघमारे का पीछा करते दिखे। ये संदिग्ध पान की दुकान पर रुके थे और गुटखा खरीदा था, जिसका पेमेंट उन्होंने UPI से किया था।
आरोपी की गिरफ्तारी
यूपीआई पेमेंट से पुलिस को फिरोज अंसारी का नाम और फोन नंबर मिला। उसकी कॉल डिटेल से पता चला कि फिरोज अंसारी की संतोष शेरेकर से लगातार बातचीत हो रही थी।
कबूलनामा और साजिश का पर्दाफाश
शेरेकर ने कबूल किया कि उसने फिरोज़ और साकिब अंसारी को 6 लाख रुपये देकर वाघमारे की हत्या करवाई थी। दोनों ने स्पा पहुंचकर पहले वाघमारे की गर्लफ्रेंड को अलग कमरे में भेजा और फिर वाघमारे का कत्ल किया। पुलिस ने शेरेकर और फिरोज अंसारी को गिरफ्तार किया और साकिब अंसारी को कोटा से पकड़ा।
ब्लैकमेलिंग का अंत
शेरेकर ने वाघमारे को ब्लैकमेलिंग से परेशान होकर हत्या की साजिश रची थी। पुलिस ने अब इस केस को कोर्ट में मजबूत करने के लिए आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है।
इस सस्पेंसफुल मर्डर मिस्ट्री ने एक बार फिर साबित कर दिया कि अपराध कितना भी छुपाया जाए, सच्चाई बाहर आ ही जाती है। इस केस ने मुंबई की पुलिस और जनता को चौंका दिया है और यह एक लंबे समय तक याद रखा जाएगा।
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